Category Archives: अध्ययन

The Taj Mahal: A Monument of Love

Shah Jahan was the fifth Mughal emperor of India, who ruled from 1628 to 1658. He was a great patron of art and architecture, and he built many beautiful buildings and gardens in his empire. But his most famous and beloved creation was the Taj Mahal, a white marble mausoleum that he built in memory of his wife Mumtaz Mahal.

Mumtaz Mahal was Shah Jahan’s second wife, whom he married in 1612. She was his constant companion and confidante, and he called her “the chosen one of the palace”. She bore him 14 children, but died in 1631 while giving birth to their last child, Gauhara Begum. Shah Jahan was heartbroken by her death, and decided to build a magnificent tomb for her as a symbol of his eternal love.

He commissioned the best architects, craftsmen, and artists from India, Persia, the Ottoman Empire, and Europe to design and construct the Taj Mahal. The project started in 1632 and took about 22 years to complete. The mausoleum is located on the right bank of the Yamuna river in Agra, Uttar Pradesh. It is surrounded by a complex of buildings and gardens, which include a mosque, a guest house, a main gateway, and a crenellated wall.

The Taj Mahal is considered to be the finest example of Mughal architecture, which is a blend of Indian, Persian, and Islamic styles. The mausoleum is made of white marble that reflects different colours depending on the time of the day and the season. It is decorated with intricate carvings, calligraphy, floral patterns, precious stones, and geometric designs. The dome of the mausoleum is 73 meters high, and is flanked by four minarets that are 40 meters high each. The interior of the mausoleum contains the cenotaphs of Mumtaz Mahal and Shah Jahan, which are enclosed by an octagonal marble screen. The actual graves are located in a lower chamber.

The Taj Mahal is not only a masterpiece of art and engineering, but also a testament of love and devotion. It is one of the most iconic monuments in the world, and attracts millions of visitors every year. It was declared a UNESCO World Heritage Site in 1983, and was voted as one of the New Seven Wonders of the World in 2007. The Taj Mahal is also known as “the jewel of Muslim art in India” and “the illumined or illustrious tomb

निफ्टी 50 इंडेक्स क्या होता है?

निफ्टी 50 इंडेक्स क्या होता है?

निफ्टी 50 भारतीय स्टॉक मार्केट में एक प्रमुख शेयर मार्केट इंडेक्स है जिसमें 50 सबसे बड़ी और विश्वसनीय भारतीय कंपनियों के स्टॉक शामिल होते हैं। यह इंडेक्स नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ इंडिया (NSE) द्वारा निर्धारित किया जाता है और भारतीय स्टॉक मार्केट की स्थिरता और विकास को मापने के लिए उपयोग किया जाता है। निफ्टी 50 के स्टॉक मार्केट इंडेक्स में शामिल कंपनियों का चयन उनके बाजार कैपिटलीजेशन द्वारा किया जाता है, जो उनके वित्तीय आकार और मूल्य की मात्रा है। निफ्टी 50 एक प्रमुख शेयर मार्केट इंडेक्स होने के साथ-साथ भारतीय अर्थव्यवस्था के संकेतक भी माना जाता है।

What is Nifty 50 Index?


Nifty 50 Index Overview.

What is nifty 50 index?

The Nifty 50 is the flagship stock market index of the National Stock Exchange of India (NSE). It is an index comprising of the 50 most actively traded stocks across various sectors of the Indian economy, including finance, technology, healthcare, energy, and more. The Nifty 50 index is widely used as a benchmark for the Indian stock market and is considered as one of the key indicators of the health of the Indian economy.

The index is calculated using a free-float market capitalization weighted methodology, which means that the weightage of each stock in the index is proportional to its free-float market capitalization (i.e., the market capitalization of the company’s shares that are available for trading in the stock market). The Nifty 50 is reviewed and rebalanced every six months to ensure that it remains representative of the Indian stock market.

Which all companies are part of nifty 50?

As of my knowledge cutoff in September 2021, the 50 companies that were part of the Nifty 50 index were:

  1. Adani Ports and Special Economic Zone Ltd.
  2. Asian Paints Ltd.
  3. Axis Bank Ltd.
  4. Bajaj Auto Ltd.
  5. Bajaj Finserv Ltd.
  6. Bajaj Finance Ltd.
  7. Bharat Petroleum Corporation Ltd.
  8. Bharti Airtel Ltd.
  9. Britannia Industries Ltd.
  10. Cipla Ltd.
  11. Coal India Ltd.
  12. Divi’s Laboratories Ltd.
  13. Dr. Reddy’s Laboratories Ltd.
  14. Eicher Motors Ltd.
  15. HDFC Bank Ltd.
  16. HDFC Life Insurance Company Ltd.
  17. Hero MotoCorp Ltd.
  18. Hindalco Industries Ltd.
  19. Hindustan Unilever Ltd.
  20. ICICI Bank Ltd.
  21. Indian Oil Corporation Ltd.
  22. IndusInd Bank Ltd.
  23. Infosys Ltd.
  24. ITC Ltd.
  25. JSW Steel Ltd.
  26. Kotak Mahindra Bank Ltd.
  27. Larsen & Toubro Ltd.
  28. Mahindra & Mahindra Ltd.
  29. Maruti Suzuki India Ltd.
  30. Nestle India Ltd.
  31. NTPC Ltd.
  32. Oil and Natural Gas Corporation Ltd.
  33. Power Grid Corporation of India Ltd.
  34. Reliance Industries Ltd.
  35. SBI Life Insurance Company Ltd.
  36. Shree Cement Ltd.
  37. State Bank of India
  38. Sun Pharmaceutical Industries Ltd.
  39. Tata Consultancy Services Ltd.
  40. Tata Consumer Products Ltd.
  41. Tata Motors Ltd.
  42. Tata Steel Ltd.
  43. Tech Mahindra Ltd.
  44. Titan Company Ltd.
  45. UltraTech Cement Ltd.
  46. United Breweries Ltd.
  47. United Spirits Ltd.
  48. Wipro Ltd.
  49. Adani Enterprises Ltd.
  50. JSW Cement Ltd.

It’s worth noting that the constituents of the Nifty 50 index may change over time, as companies may be added or removed from the index based on various criteria such as market capitalization, liquidity, and sector representation.

परेशानी, शेयर बाजार कमाई और सीखने की चाहत

आज बड़ी परेशानी हुई, ऑफिस का लेपटॉप अचानक ही क्रेश हो गया, मतलब कि लेपटॉप चार्ज ही नहीं हो रहा था और कुछ जरूरी डॉक्यूमेंट बनाने थे, जिस पर एक बड़ी मीटिंग शेड्यूल थी। डॉक्यूमेंट में आलमोस्ट सारी चीजें अपडेट कर चुके थे, और onedrive पर सिंक हो गई, यह एक बढ़िया बात रही। हमने क्रेश होने के बाद मोबाइल पर onedrive डाऊनलोड करा और अपने सहकर्मियों को शेयर कर दिया। जिससे फायदा यह हुआ कि मीटिंग री शेड्यूल नहीं करना पड़ी। हाँ अपने बॉस को जरूर अपडेट कर दिया था और कंपनी के IS टीम के साथ टिकट खोला और फिर पता चला कि वे कुछ नहीं कर सकते, लेपटॉप अभी वारंटी में है तो लेपटॉप कंपनी से टिकट ओपन किया गया और अब वो हमारे घर पर आकर कुछ पार्ट बदलेगा।

बाद में लेपटॉप कंपनी वालों का फोन आया, और उन्होंने बताया कि हम मोबाईल के सी टाइप चार्जर से भी चार्ज करके देख सकते हैं, हमने मोबाईल के चार्जर से चार्ज करके देखा तो थोड़ा बहुत चार्ज हो गया। पर चार्जिंग बहुत ही धीमी हो रही है। अब लेपटॉप कम्पनी वाला परसों आयेगा और लेपटॉप का चार्जिंग पोर्ट बदलेगा। तब तक मोबाईल के चार्जर से ही काम चलाना पड़ेगा। लेपटॉप का सी टाइप चार्जर मिल जाये, इसका जुगाड़ भी जारी है। वहीं अगर यह काम नहीं हुआ तो कंपनी डॉकिंग स्टेशन भेजेगी।

पर एक छोटी सी चीज खराब होने से बहुत ही समस्या हो जाती है, और दिनभर का शेड्यूल बिगड़ जाता है, बहुत सारा काम था, पर दिमाग में काम की बजाय यही चल रहा था कि अब काम कैसे चलेगा। ऐसी परेशानियों को झेलना मुश्किल होता है।

वहीं परसों मंथली एक्सपायरी है और एक डील गलत होने से अपना 4% का प्रॉफिट चला गया, फिर भी 1% प्रॉफिट इस महीने का रहेगा। अब शेयर बाजार में यह सब तो चलता ही रहता है। अब vix जब थोड़ी ज्यादा होगी तो ऑप्शन की प्रीमियम भी ज्यादा बेचने को मिलेगी। फेसबुक पर एक मित्र ने अपनी पोस्ट में ऑप्शन बेचने का लिखा था, हमने उनकी पोस्ट पर कमेंट किया कि You are on right track, just use 3 months support and resistance and sell strangle for safe side, vix is important factor. No need to learn from anywhere, just do your paper trade. And soon you will be able to earn minimum 3 to 6% monthly on your capital with risk management.

अब उनको सीखने में मदद भी कर रहा हूँ, देखते हैं कि हम कितना सिखा पाते हैं और वे कितना सीख पाते हैं। मुझे ऐसे लोग पसंद आते हैं जो सीखने की कोशिश करते हैं, न कि टिप्स के पीछे भागते हैं। कल ही एक मित्र को कह रहा था कि कोई अगर 10 लाख से यह काम शुरू करे तो 30 हजार रुपये हर महीने के आराम से रिस्क मैनेज करके कमा सकता है, बस सीखना पड़ेगा और बाजार स्व कमाने की जल्दीबाजी न करे। वहीं इससे ज्यादा कमाई का सोचा तो रिस्क मैनेज नहीं कर पायेंगे। साल का 40% रिटर्न अपने कैपिटल पर बहुत बढ़िया होता है। पर पब्लिक को तो रातों रात अमीर बनना होता है, और फिर शेयर बाजार को सट्टा बाजार कहते हैं, उन पर तरस आता है।

निराशा, जीवन और भूल जाना

जीवन में निराशा कभी आ जाये तो जीवन थोड़ा ढीला और धीमा हो जाता है। निराश कदमी को लगता है कि वो ही एकमात्र ऐसा प्राणी है जो कुछ नहीं कर पाता, वरना तो दुनिया उसके आगे ही है। और वह व्यक्ति हमेशा भाग्य को कोसता रहता है। पर भला कोसने से कभी कुछ होता है, जो होना होगा वह तो होकर ही रहेगा। जीवन में सोच ही व्यक्ति के प्रारब्ध का निर्माण करती है। पर कभी सोचता हूँ कि कोई ज्योतिष गुरू मेरी इस विचारधारा को सुनकर कहीं न कहीं मुझे धिक्कार ही देगा। वे हमेशा कहेंगे कि फलाने ग्रह और फलाने योग में यह सब होता है। शायद उनकी बातें सत्य भी होती हों। पर जीवन की निराशा में मौसम का भी बहुत हद तक हाथ होता है और अगर शरीर में निराशा प्रकार के रसायनों का बोलबाला हो तो जीवन चलना जटिल हो जाता है।

कल जब मोबाईल पर स्क्रीन गार्ड लगवाने के लिये एक दुकान के सामने कार रोकी, तो देखा दुकान पर कोई नहीं था, तभी देखा एक बंदा दुकान की ओर दौड़ता आ रहा है जिसके हाथ में मोबाईल है औऱ कान में कनकव्वा लगा हुआ है। दुकान में घुसते ही उसने हमारा स्वागत किया और हमने अपने आने का कारण बताया। बंदे ने सबसे पहले रेडी रेकनर टाइप का पेज निकाला और मोबाईल का मॉडल देखकर उसके स्क्रीन गार्ड का डब्बा निकाला। फिर एक drawer में देखने लगा, इससे यह तो पता चल गया कि इन भाईसाहब को कुछ पता नहीं है। 2 – 4 मिनिट नाटक करने के बाद बोला कि स्टाफ को पता होगा कि कहाँ रखा है, आप बाद में आइयेगा।

केवल इसी चक्कर में अपन पिछले 15 वर्षों से रेस्टोरेंट नहीं खोल पाये। काम अपन वही करना चाहते हैं जो खुद कर पायें, जिस काम में डिपेंडेंसी हो वह काम करना बहुत मुश्किल होता है। अगर स्टाफ गायब हो जाए तो अपनी दुकान बंद, तो ऐसी दुकान खोलने का कोई मतलब नहीं।

कई वर्षों बाद उज्जैन आया हूँ, तो बहुत से चेहरे जाने पहचाने हैं जिनके बाल काले थे, वे अब सफेद दिखने लगे हैं और चेहरे भी बदल गए हैं। मुझे देख कर पहचानने की कोशिश करते हैं और कभी कभार मैं भी पहचानने की कोशिश करता हूँ, पर अब ऐसी कोशिशें कामयाब नहीं हो पाती हैं, शायद उम्र का असर है। मैं अक्सर ही चीजें भूल जाता हूँ, फिर तो यह शक्ल है जिन्हें में 5 साल बाद देख रहा हूँ। हाँ इस बार बहुत दुख हुआ कई लोगों को मिल नहीं पाया, क्योंकि वे अब इस दुनिया में ही नहीं हैं।

जीवन की भागदौड़

सुबह अलसाई थी, आँख खुलने के पहले ही अहसास था और बारिश की आवाज आ रही थी। बारिश की आवाज से ओर आलस आ गया, फ्रेश होने के बाद घूमने जाना मुश्किल था। पर पेट कभी मन की नहीं सुनता, न खाली होने पर और न ही खाली होने के लिये, दोनों ही स्थिति में पेट को प्रायोरिटी चाहिए। पेट ही हमारे जीवन का केंद्रबिंदु है। पेट कम हो तो कम क्यों है, ज्यादा हो तो कम कैसे करें। सारी बीमारियों की जड़ भी पेट ही है, खाना खाता मुँह है, पर सजा पेट को भुगतना पड़ती है। बेचारा पेट सुबह कराह रहा होता है, पर मुँह है कि मानता ही नहीं।

मानसिक तंद्रा भंग होने के बाद, जब ध्यान में बैठे, तो आजकल ज्यादा देर बैठते भी नहीं बन रहा। मन और विचार कम से कम 2 या 3 गुना तेजी से चल रहे हैं जैसे प्लेयर पर बटन होता है ff1, ff2, या 1.5x, 2x etc बस मन और दिमाग भागे ही जा रहा है, जो रफ्तार जीवन ने पकड़ी है, उस रफ्तार पर ध्यान नहीं होता। ध्यान करने के लिये सहज होना होता है, और सहज स्थिति प्राप्त तभी होगी जब हम प्राकृति के तय समयानुसार अपने जीवनचक्र पर चलें।

एक साथ कई काम करना भी एक मजबूरी ही है, दिमाग अभी 3 अलग अलग तरह से बंटकर काम कर रहा था, तभी फोन बजा और एक चौथा स्थान उसने बना लिया। सभी को अपने कार्य प्रायोरिटी पर चाहिये। ऐसे ही कल जब प्रेशर में कुछ डॉक्यूमेंट रिव्यू के लिये आये तो तुनककर इतने अच्छे से रिव्यू किये कि अब वापिस रिव्यू के लिये शायद ही मुझे डॉक्यूमेंट भेजेंगे। काम तो सभी को परफेक्ट चाहिये, पर दूसरे से, अगर कोई दूसरा उसमें ढ़ेर गलती निकाल दे तो मुँह छोटा कर लेते हैं।

खैर जब एक कड़वी कॉफी पी, तभी जाकर थोड़ा दिमाग रिसेट हुआ है, अब लंच के बाद आज की आगे की लड़ाई, वो अलग बात है कि हम लंच नहीं करते।

जब रावण ने अपने परिवार को श्रीराम पर विश्वास करने को कहा

रामायण में एक प्रसंग आता है कि जब लक्ष्मण के द्वारा मेघनाथ का वध हो जाता है, को मेघनाथ की दक्षिण भुजा सती सुलोचना के समीप गिर जाती है और पतिव्रता का आदेश पाकर वह भुजा सारा वृतांत लिख कर बता देती है।

तब सुलोचना निश्चय करती है कि मुझे भी अब सती हो जाना चाहिए। किंतु पति का शव दो रामदल में पड़ा हुआ था फिर भी कैसे सती होती? तब उसने अपने श्वसुर रावण से कहा कि आप मेरे पति का शव मांग लो।

तब रावण ने उत्तर दिया देवी सुलोचना जिस समाज में बाल ब्रह्मचारी श्री हनुमान परम जितेंद्रिय श्री लक्ष्मण तथा एक पत्नीव्रती भगवान श्री राम वर्तमान हैं, उस समाज में तुम्हें जाने से डरना नहीं चाहिए। मुझे विश्वास है की इन महापुरुषों के द्वारा तुम निराश भी नहीं लौटाई जाओगी।

जब रावण सुलोचना से यह बातें कर रहा था उस समय उसके कुछ मंत्री भी उसके पास बैठे हुए थे। उन्होंने कहा जिनकी पत्नी को आप ने बंदी बनाकर अशोक वाटिका में रखा हुआ है, उसके पास आपकी बहू का जाना कहां तक उचित है, यदि वह गई तो क्या सुरक्षित वापस लौट सकेगी?

रावण ने अपने मंत्रियों को कहा लगता है तुम सब की बुद्धि नष्ट हो गई है, अरे यह तो रावण का काम है जो दूसरे की स्त्री को अपने घर में बंदी बनाकर रख सकता है राम का नहीं।

धन्य है श्री राम का चरित्र बल जिसका विश्वास शत्रु भी करता है और प्रशंसा करते थक गए नहीं हमें राम के इस उदात्त चरित्र से अवश्य प्रेरणा लेनी चाहिए।

Iron Condor Adjustment

Iron Condor adjustment strategy कैसे बनायें

Iron Condor में adjustment करके हम अपनी risk बेहतर तरीके से manage करते हैं, यहाँ हमने may 2022 की expiry के strikes लिये हैं और यहाँ आप देख सकते हैं कि probability of profit 63% है। Iron Condor में एक ही समस्या है कि आपका Risk & Reward ratio बहुत ज्यादा है, अगर हम दो बार profit में रहते हैं और केवल एक बार loss करते हैं तो हमारा profit तो जायेगा ही साथ ही जेब का पैसा भी जायेगा।

अब हम देखेंगे कि इस Iron Condor में adjustments से कैसे अपने capital को protect करें। ध्यान रखें कि Adjustment के लिये हमें और पैसा चाहिये होगा, अगर आपके पास और capital नहीं है तो आपको अपनी positions को roll up या roll down करना होगा।

अगर Nifty तेज़ी से नीचे गिर रहा है तो यहाँ आप roll down कर सकते हैं, मतलब कि अपनी Call positions को और नीचे ले आयेंगे, वैसे ही अगर Nifty तेजी से बढ़ रहा है तो आप अपनी Put positions को ऊपर की ओर ले जायेंगे।

लेकिन जब हम कोई भी Strategy पर काम करते हैं, तो हमारे दिमाग़ में हमेशा ही adjustment strategy रहना चाहिये, यहाँ इस Iron condor में जब तक Nifty 16500 & 17700 के बीच में रहता है तो चिंता करने की कोई जरूरत ही नहीं है, क्योंकि उस समय तक आपकी दोनों legs में आपको profit हो रहा होगा, Time Value decay के कारण। पर जैसे ही Nifty 17700 के ऊपर जाता है तो आप put की 16500 PE और 16000 PE positions को close करके और ऊपर की तरफ shift कर देंगे, मतलब कि 17000PE बेच देंगे और 16500 PE खरीद लेंगे।

अगर फिर भी Nifty continuous ऊपर की ओर जा रहा है, और 18200 Cross करने पर आ गया है तो आप 17000PE और 16500 PE position को और ऊपर shift करे देंगे। मतलब कि 17700PE & 17200PE। पर हमेशा ध्यान रखें कि हमें अपने Iron Condor को ITM याने कि In the money में जाने का इंतजार नहीं करना है। मतलब कि Adjustment 18200 के पहले ही कर लेना है, 18200 के cross करने का इंतजार नहीं करना है।और यहाँ Call के loss बुक करके और 300 या 500 strike ऊपर की position बना लेना है।

समस्या तब होती है जब Nifty जब थोड़ा ऊपर जाता है और हम अपनी position accordingly move करते हैं और फिर Nifty अगर crash कर दिया तो इसमें trap होने के chances ज्यादा होते हैं। इसके लिये हमें बाजार को मोटे तौर पर पढ़ना भी आना चाहिये, कि बाजार में क्या हो रहा है, जिससे उसकी range कितनी बढ़ सकती है और कितना move कर सकती है।

Iron Condor

Iron Condor कैसे बनायें

Long Strangle – Short Strangle का opposite होता है, Short Strangle में हम OTM Call & Put बेचते हैं, और Long Strangle में हम OTM Call & Put खरीदते हैं।

अगर Short Strangle करते हैं तो हमारा मार्जिन लगभग 1 लाख रूपये का होता है, वहीं अगर हम साथ में Long Strangle भी बना लेते हैं तो हमारी Risk कम होने के कारण हमारी margin requirement भी कम हो जाती है। जो कि 50% तक कम हो सकती है।

इसे Ircon Condor कहते हैं, Short Strangle के Strike से 100-200 ऊपर Strike की Long Strangle लेने से हमारी Risk भी मैनेज आ जाती है, इससे हमारा जो unlimited risk होता है, वह limited risk में convert हो जाता है।

अभी जैसे निफ़्टी 17100 के आसपास है तो हम एक Iron Condor बनाते हैं –

इससे हमारी margin requirement 1 Lac से कम होकर केवल 43,000 हो गई। और आप इसका ये payoff chart देख सकते हैं –

तो हमारा Max Loss 8,680 और Max Profit 1,320 हो सकता है। अगर 5 May Weekly Expiry Nifty 16500-17500 के बीच होती है, तो हमें 1,320 का profit होगा।

और अगर profit ratio देखा जाये तो हमारी कैपिटल जो कि लगभग 43,000 लगी है, उसका 3% return होता है, और 3% profit मात्र 3-4 दिन में बहुत ही बढ़िया रिटर्न होता है।

अब मान लेते हैं कि Nifty में बड़ा Gap up या Gap down होता है तो उस केस में हमें लॉस होगा। मतलब कि अगर weekly expiry Breakeven जो कि 16473-17526 के बीच नहीं होता है तो हमें loss होगा। Breakeven में हमें न loss होगा न profit, हाँ हमारा loss केवल brokerage और Tax का होगा।

यहाँ पर Short Strangle से ज्यादा profit भी है और आपका loss भी Limited ही है, और margin कम होने से आप 1 की जगह 3 लॉट से काम कर सकते हैं, साथ ही अगर बाजार में बड़ा move आता है तो आपका max loss लगभग 25,000 होगा जो कि आपकी capital का लगभग 17% होता है, जिसकी संभावना बहुत ही कम है।

Short Strangle

Short Strangle in Nifty 

क्या होता है Short Strangle in Nifty –

जैसा कि आपको पता होगा कि पहले अगर आप ऑप्श्न सैल करते थे तो आपका कैपिटल रिक्वायरमेंट कम से कम 20-25 लाख रूपयों का होता था, पर सेबी ने नियमों में बदलाव किया और अब अगर आपके पास कम से कम 50 हजार से 10 लाख की कैपिटल है तब भी आप ऑप्शन सैलिंग कर सकते हैं।

अगर आपके पास ज्यादा कैपिटल होगी तो आप अपने ऑप्श्न ट्रेड में ज्यादा एडजस्टमेंट कर सकते हैं, और अगर कम कैपिटल है तो आपको Risk & Reward Ratio पर खेलना होगा। ऐसी कोई भी स्ट्रेटेजी नहीं है जो कि हर समय आपको Profit दे भले Market Condition कैसी भी हो। हर Market Condition में अलग Strategy होती है। और यह हर किसी के साथ होता है।

अगर आपको शेयर बाजार में सफल होना है तो आपको ऑप्शन सैलिंग के साथ एडजस्टमेंट सीखना ही होगा।

यहाँ हम यह समझ रहे हैं कि आप अगर यह लेख पढ़ रहे हैं तो आपको ऑप्शन की Basic जानकारी है, कि अगर आप ऑप्शन बेच रहे हैं तो आपको मार्जिन मनी देनी होती है और अगर खरीद रहे हैं तो प्रीमियम देना होता है। Nifty is having weekly Expiry.

Short Strangle – Selling far OTM CE & far OTM PE

If Nifty is around 17200 जब आप Open Interest देखेंगे तो आपको Support & Resistance समझ में आयेगा।

यहाँ हम Support & Resistance के Call & Put sell कर देंगे।

Sell Nifty 16800 PE (Support) @ 12
Sell Nifty 17500 CE (Resistance) @ 12

Margin money will be required for these option selling is around 1 Lac, और अगर Expiry is after 2 days तो यहाँ पूरे चांस हैं कि ये प्रीमियम 0 हो जायेगा और 1 लाख के मार्जिन पर लगभग 1200 रूपयों का रिटर्न मिलेगा, जो कि 2 दिन में 1.2% होता है, और इससे अच्छा तो कोई बिजनेस हो ही नहीं सकता।

Short Strangle बनाने के बहुत से तरीके होते हैं, जैसे कि India Vix, Support & Resistance, Open Interest.

इसका PayOff chart आप अपने ट्रेडिंग एप्प के आईडी से सेंसिबुल पर लॉगिन करके देख सकते हैं – 

यहाँ पर अगर बाजार 16800 के नीचे जायेगा और 17500 के ऊपर जायेगा तो हमें अनलिमिटेड लॉस होगा। मार्जिन कितना लगेगा, उसके लिये आप जीरोधा के बॉस्केट ऑर्डर में जाकर देख सकते हैं। 

Here Breakeven is 16800-24 = 17756 to 17500+24 = 17524.

Required Margin – Amount must be in your Account.
Final Margin – Final Blocked money in your Account.

तो अगर निफ्टी 16800 और 17500 के बीच रहता है तो हमें 1200 रूपयों का लाभ होगा। 

जब आप PE & CE दोनों बेचते हैं तो आपको Margin benefit मिलता है। ये जो हम बेच रहे हैं यह Necked है, जिसमें अनलिमिटेड Loss हो सकता है पर Profit लिमिटेड होता है।

FII-Money-Outflow

भारत का पैसा विदेशों में क्यों जा रहा है?

भारतीय बाजारों से पैसा भारत के बाहर के बाजारों में जा रहा है। यह रकम बहुत बड़ी है।

सेकेंडरी मार्केट – बाजार में 3 बड़े निजी बैंक जो एडवाइजर का भी काम करते हैं, उनकी सलाह है कि अपने पोर्टफोलियो का 20% विदेशी बाजारों में लगायें, वहीं 3 वर्ष पूर्व उनकी सलाह 0% की थी।

प्राइवेट मार्केट – भारत से सैकड़ों स्टार्टअप विदेश जा रहे हैं। 

क्या असर पड़ेगा –

भारत $5 ट्रिलियन इकोनॉमी करना चाहता है किस्से भारत विश्व की तीसरी बड़ी इकोनॉमी बन जाये।

लेकिन भारत बहुत से मोर्चों पर असफल है, जैसे बढ़िया टैलेंट, कैपिटल, एंटरप्राइज, और यह एक बहुत बड़ी मुश्किल है।

हमारा सारा टेलेंट, पैसा और स्किल्स बाहर देशों में जा रहा है, उन देशों की इकोनॉमी को उन्नत, कुशल और समृद्ध बनाने में लगा हुआ है।

भारत के लिये यह सर से पानी गुजरने जैसा है और इस नकसीर को यहीं रोकना होगा, वरना तो बहुत देर हो चुकी होगी।

अमेरीका ही क्या कई अन्य देश व्यवस्थित ढंग से लालच देकर पूरे विश्व से अच्छे टैलेंट को चुरा रहे हैं। कितने ही अमेरीका के पॉपुलर पॉडकास्ट लगातार जॉब एक्ट, इमिग्रेशन एक्ट, स्पेशल परपज वीसा पर बातें करते हैं।

हो यह रहा है कि ये कुछ देश विश्व के हर कोने से टैलेंट को अपने यहाँ जगह दे रहे हैं, मतलब की पूरे विश्व के टैलेंट को चूस रहे हैं। भारत के बहुत ही गंभीरता से इस बारे में सोचना होगा और सबसे पहले टैलेंट को चिह्नित करके उनको अपने ही देश में अपने देश की उन्नति के लिये स्वीकार करना होगा। 

राष्ट्रवादी और कट्टर देशभक्त होकर अमेरिका पर ऊँगली उठाना बहुत आसान है कि अमेरिका हमारा पूरा टैलेंट चुरा कर ले जाता है। असली प्रश्न तो यह है कि – भारत ऐसा होने कैसे दे रहा है। गाँधी जी ने भी कहा था कि अगर आप किसी पर ऊँगली उठाते हो तो वो एक ही होती है, परंतु तीन ऊँगलियाँ ख़ुद की तरफ़ उठती हैं।

भारत से पैसा बाहर जाने से रोकने के लिये म्यूचुअल फंड जो कि विदेशी बाज़ारों में निवेश करते हैं उनकी विदेशी मुद्रा की लिमिट ख़त्म हो चुकी है और नया पैसा इस तरह के फंड्स विदेश नहीं जा पा रहे हैं। पर यक़ीन मानिये यह पैसा है, पैसा पानी जैसा होता है, अगर पैसे को बाहर जाना है तो वह अपने तरीक़े ढूँढ लेगा, और बाहर के बाज़ारों में बह जायेगा।

FII Fund Outflow from India

स्टार्टअप को स्केल अप करने के लिये बड़े फंड की ज़रूरत है पर भारत में बड़े बिज़नेस घराने इस तरफ़ बहुत ज़्यादा एक्टिव नहीं हैं। Web3 मीटिंग दिल्ली, बैंगलोर या मुंबई में नहीं हुई यह हुई दुबई में और इसमें 75% प्रतिभागी भारतीय थे बाक़ी के रशिया और यूरोप के थे। अधिकतर स्टार्टअप या तो दुबई में जा चुके हैं या जाने की प्रोसेस में हैं। Web3 इंटरनेट का अगला वर्शन कहा जा रहा है, और उसके लिये दुबई में इसका प्लेटफ़ॉर्म तैयार है जो कि डिसेंट्रलाईज होगा और ब्लॉकचैन पर चलेगा। जबकि भारत में स्टार्टअप अभी भारतीय सरकारी व्यवस्था और उनके नियामकों से जूझ ही रहे हैं, जहाँ नियम कभी भी बदल जाते हैं और उसका किसी को अता पता नहीं होता है। भारत में हर तरफ़ टैक्स की मार भी है।

दरअसल यह बदलाव शुरू हुआ है नवंबर 2021 से, जब क्रिप्टोकरंसी के लिये क्रिप्टो बिल में ज़्यादा टैक्स और कठिन नियमों के चलते दुबई या किसी और देश जा रहे हैं, अब प्रश्न यह नहीं होता है कि “क्या तुम जा रहे हो?” बल्कि प्रश्न होता है कि “कब जा रहे हो?”

स्टार्टअप जब काम करना शुरू करते हैं तो वे आधुनिक तकनीक पर काम करते हैं और वह तकनीक सरकारी अमले को समझाना लगभग असंभव ही होता है और स्टार्टअप को भारतीय नियमों में बँधकर काम करना होता है, जबकि वे तकनीक विश्व के लिये बना रहे होते हैं, जब स्टार्टअप शुरू होते हैं तो प्रोसेस में कई चीजें ऐसी होती हैं कि उन्हें भी नहीं पता होता कि उन चीजों के लिये भारत में सरकार से बार बार हर चीज के लिये परमीशन लेना होगा। अगर किसी ने डिजिटल एसेट्स का ही काम शुरू कर दिया तो उस पर भारत में 30% टैक्स हो और 1% टीडीएस भी। हर स्टार्टअप के अपने प्रोटोकॉल होते हैं और उन्हें ही पता नहीं होता है कि वाक़ई क्या लीगल है और क्या नहीं, आप कोई NFT का उपयोग करना चाहते हैं, या डिजिटल कॉइन लाँच करना चाहते हैं, यह सब तो स्टार्टअप शुरू करते समय पता नहीं होता है।

वैसे भी ऐसा क्यों हो रहा है तो आप ट्विटर पर क्या ट्रेंड कर रहा है, अपने टीवी खोलकर सामने देख लीजिये, या फिर अख़बारों के मुख्य पेज ही देख लें, फिर शायद यह प्रश्न नहीं पूछें।