किस बात पर हमें कितना ध्यान देना है, यह हमें पता होना चाहिये, नहीं तो हम केवल फ़ालतू की बातों में ही अपने आपको लगाये रहेंगे और जीवन के कुछ महत्वपूर्ण पलों को ऐसे ही निकाल देंगे, अगर हमें प्राथमिकता पता होगी तो ही हमें किसी बात का महत्व भी पता होगा। कई बार हम किसी बात से बहुत ही परेशान होते हैं, और बाद में पता चलता है कि उस बात का उतना importance था ही नहीं, या उतनी चिंता करने की कोई बता ही नहीं थी। हम अगर किसी बात से परेशान हैं तो सबसे पहले हमें यह ठोक बजाकर पता कर लेना चाहिये कि उस बात से हमारा कितना सारोकार है।
चिंतित होना मानवीय स्वभाव है और कई बार हम छोटी छोटी बातों को ही अपने दिल दिमाग़ में पाल लेते हैं जिससे वह बात या समस्या हमें बहुत बड़ी लगने लगती है, हम फिर हर चीज को बड़ा करके देखने लगते हैं, जिससे हम अपना सुकून खो देते हैं, रातों की नींद ग़ायब हो जाती है, दिन का आराम ग़ायब हो जाता है, हम काम तो कर रहे होते हैं परंतु काम में मन नहीं लगता है, बस वे कुछ दिन या कुछ सप्ताह ऐसे ही बीत जाते हैं, और फिर यकायक ही वह बात अपने आप ही ख़त्म हो जाती है या उसकी Importance हमारे जीवन से ख़त्म हो जाती है, परंतु बाद में हम कभी इस बात का विश्लेषण नहीं करते कि हमें किन बातों का चिंतन करना चाहिये, और किन बातों को दिमाग़ में बैठने देना चाहिये।
मैंने इसके लिये अपने जीवन में सिंपलीकरण किया हुआ है, जब भी कोई बाद दिलो दिमाग़ को परेशान करे, तो उसके बारे में विस्तार से सोचो, कि उससे कितना बुरा हो सकता है या कितना अच्छा हो सकता है, खैर अच्छी वाली बातों से तो हम परेशान होते ही नहीं उससे तो हम खुश भी नहीं होते, क्योंकि कोई ऐसी बात भी है जो परेशान कर रही होती है। मुझे सोचने के बाद पता चलता है कि इस बात पर अपने आपको परेशान करने का कोई औचित्य ही नहीं है। बस उसके बाद हम उन बातों को सोचने से मुक्त हो जाते हैं।
काम में मन भी तब लगेंगे, जब आप लगाना चाहेंगे, अगर फ़ालतू की बातों में अपने आपको फँसाकर रखेंगे तो जीवन बहुत मुश्किल है। अगर आपने कोई निर्णय एक बार ले लिया तो उसमें ज़्यादा सोचने की ज़रूरत नहीं कि इसका आगे क्या प्रभाव होगा, कितना नुक़सान होगा, किसको कितना बुरा लगेगा, यह सब तो जीवन में चलता ही रहेगा। इन सब बातों से ज़्यादा महत्वपूर्ण आपका अपना स्वास्थ्य है, जो इससे प्रभावित होगा।
अरे हां, पढ़ने के बाद ५ मिनट का ही चिंतन किया तो जान, आपने लखटकिया तरीका बता दिया ।
हालांकि अपना पाना थोड़ा कठिन है किंतु अभ्यास करेंगे तो अवश्य कर पाएंगे ।
एक अच्छी सलाह के लिए 🙏
आप ने बहुत महत्वपूर्ण विषय को यहाँ उठाया है। अभी अभी यह पढ़ने के बाद अचानक से यह समझ आया है कि “अरे यही तो वो विषय है जो जीवन की दशा और दिशा तय करता है… धन्यवाद विवेक साब.. मेरे मन को झखझोरने के लिये…🙏🙏🙏
विचारणीय आलेख।
आपकी लिखी रचना ब्लॉग “पांच लिंकों का आनन्द” रविवार 04 जुलाई 2021 को साझा की गयी है………….. पाँच लिंकों का आनन्द पर आप भी आइएगा….धन्यवाद!
यदि प्रत्येक व्यक्ति में यह समझ आ दाए तो कितनी एनर्जी और टाइम बच जाए…विचारणीय आलेख!